हाईकोर्ट में सोमवार को झारखंड विधानसभा अवैध नियुक्ति की जांच की मांग के लिए दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई। इसमें अदालत ने अपना फैसला सुनाते हुए मामले की पूरी जांच CBI से कराने का आदेश पारित किया है।
झारखंड हाईकोर्ट में आज आयुष्मान भारत योजना में गड़बड़ियों को लेकर दाखिल जनहित याचिका पर सुनवाई हुई। जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद और जस्टिस एके राय की बेंच में मामले की सुनवाई हुई।
सिपाही नियुक्ति को चुनौती देने वाली याचिका को झारखंड हाईकोर्ट ने ख़ारिज दिया है। शुक्रवार को हाईकोर्ट में सिपाही नियुक्ति के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई हुई।
झारखंड हाईकोर्ट ने 17 साल पहले बर्खास्त किये गये एक कर्मचारी को अब 19 साल का बकाया वेतन भुगतान करने का आदेश विभाग को दिया है।
पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन बजट सत्र में भाग लेंगे या नहीं यह जानने के लिए अभी उनको और इंतजार करना होगा। दरअसल उन्होंने निचली अदालत से याचिका खारिज होने के बाद हाईकोर्ट से बजट सत्र में शामिल होने की गुहार लगाई थी।
हजारीबाग (Hazaribagh) के DC, SDO और नगर आयुक्त को हाईकोर्ट (High Court) ने सशरीर उपस्थित होने का आदेश जारी किया है।
अभ्यर्थियों की रिट याचिका स्वीकार करते हुए हाईकोर्ट ने जेएसएससी को निर्देश दिया है कि पूर्णिमा, अभिजीत और आशुतोष की उम्मीदवारी को कंसीडर किया जाए।
झारखंड हाईकोर्ट ने जेपीएससी परीक्षाओं में अनियमितता को लेकर सीबीआई से जवाब मांगा है। दरअसल, झारखंड लोकसेवा आयोग (JPSC) प्रथम व द्वितीय सिविल सेवा परीक्षा में गड़बड़ी की जांच पूरी न होने पर हाईकोर्ट ने सख्त रुख अपनाया है।
झारखंड हाईकोर्ट ने मंगलवार को भारतीय पुरातत्व विभाग को आदेश दिया है कि वह रांची के टैगोर हिल स्थित ब्रह्म मंदिर को राष्ट्रीय धरोहर घोषित किए जाने पर 3 महीने में निर्णय ले।
झारखंड हाईकोर्ट ने सहायक आचार्य नियुक्ति परीक्षा पर रोक लगा दी है। मंगलवार को सुनवाई के बाद हाईकोर्ट ने जेएसएससी को झटका देते हुए सहायक आचार्य नियुक्ति विज्ञापन पर रोक लगाने का ऐलान किया। मामला 50 फीसदी आरक्षण मामले से जुड़ा है।
झारखंड हाई कोर्ट ने अशोक यादव के नजरबंदी को अवैध करार देते हुए रिहा करने का आदेश दिया है। न्यायमूर्ति चंद्रशेखर की कोर्ट ने यह आदेश दिया। अशोक यादव को झारखंड क्राइम कंट्रोल एक्ट के अंतर्गत पिछले साल नजरबंद कर दिया गया था। कोर्ट ने कहा कि राज्य सरकार ने उस
झारखंड हाईकोर्ट के वकीलों और लिपिकों के बीच 22 जून को शुरू हुआ विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। शनिवार को कोर्ट खुलने के बाद लिपिक संघ के सदस्य एडवोकेट ब्लॉक 1 और एडवोकेट ब्लॉक 2 के सामने धरने पर बैठ गए।