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'मन की बात' का 100वां एपिसोड : पीएम बोले- देश में बने खिलौनों को फिर से जोर देने में कार्यक्रम ने निभाई अहम भूमिका  

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द फॉलोअप डेस्क

प्रधानमंत्री मोदी के 'मन की बात' कार्यक्रम के 30 अप्रैल रविवार को 100 एपिसोड पूरे हो गए। हर महीने के अंतिम रविवार को प्रसारित होने वाले इस कार्यक्रम को खूब पसंद किया जाता है। आज का एपिसोड टीवी चैनलों, निजी रेडियो स्टेशनों और सामुदायिक रेडियो सहित एक हजार से अधिक प्लेटफॉर्म पर ब्रॉडकास्ट किया गया। इसके अलावा संयुक्त राष्ट्र के न्यूयॉर्क स्थित हेडक्वार्टर पर भी आज का एपिसोड सुना गया। इस बार के ऐतिहासिक एपिसोड को यादगार बनाने के लिए देश में जगह-जगह इसकी लाइव स्क्रीनिंग की गई और करोड़ों लोगों ने इसे लाइव सुना।

 

100वें एपिसोड कि आपने दी बधाई

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मन की बात कार्यक्रम के 100वें एपिसोड पूरे होने के उपलक्ष्य में पीम ने कहा कि मन की बात का 100वां एपिसोड है। उन्होने कहा कि मुझे आप सबकी हजारों चिट्ठियां और संदेश मिले। कोशिश की है कि ज्यादा से ज्यादा चीजों को पढ़ पाऊं देख पाऊं। संदेशों को समझने की कोशिश करूं। कई बार पत्र पढ़ते वक्त भावुक हो गया,  भावनाओं में बह गया और संभाला। उन्होंने कहा कि 100वें एपिसोड पर सच्चे दिल से कहता हूं कि बधाई आपने दी, पात्र आप सभी श्रोता हैं। मन की बात कोटि-कोटि भारतीयों के मन की बात है। उनकी भावनाओं का प्रकटीकरण है।

'मन की बात' में कई जनआंदोलनों ने लिया जन्म

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मन की बात में कितने ही जनआंदोलनों ने जन्म लिया और गति भी पकड़ी है। जब देश में बने खिलौनों को फिर से जोर देने की बात चली तो इस कार्यक्रम ने अहम भूमिका निभाई। भारतीय नस्ल के श्वान, उनको लेकर जागरुकता बढ़ाने का काम भी तो मन की बात में ही हुई थी। हमने मन की बात में ही तो प्रण लिया था कि हम छोटे दुकानदारों से मोलभाव नहीं करेंगे। जब हर घर तिरंगा अभियान शुरू हुआ था, तब इस कार्यक्रम ने लोगों को प्रेरित करने में अहम भूमिका निभाई थी।

हर क्षेत्र में बेहतरीन काम करने वालों को मन की बात में किया याद

मन की बात में पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि कल्पना करिए कि कोई देशवासी 40-40 साल से निर्जन जमीन पर पेड़ लगा रहा है। कोई 30 साल से जल संरक्षण के लिए बावड़ी बना रहा है। कोई निर्धन बच्चों को पढ़ा रहा है। कोई गरीबों की इलाज में मदद कर रहा है। कितनी ही बार मन की बात में इनका जिक्र करते वक्त मैं भावुक हुआ। आकाशवाणी के साथियों को इसे दोबारा रिकॉर्ड करना पड़ा। मन की बात में जिन लोगों का हम जिक्र करते हैं, वे सब हमारे हीरोज हैं, जिन्होंने इस कार्यक्रम को जीवंत बनाया है। आज जब हम 100वें एपिसोड के पड़ाव पर पहुंचे हैं तो मेरी इच्छा है कि एक बार फिर इन हीरोज के पास जाकर उनके बारे में जानें।

 

विजयदशमी मतलब बुराई पर अच्छाई की जीत का दिन

पीएम मोदी ने कहा 3 अक्टूबर 2014 को विजयादशमी के मौके हमने मन की बात की यात्रा शुरू की थी। विजयदशमी मतलब बुराई पर अच्छाई की जीत का दिन। यह हमारे लिए एक अनोखा पर्व बन गया है। इसका इंतजार हम सभी को हर महीने होता है। हम इसमें सकारात्मकता को मनाते हैं और जनभागीदारी को भी मनाते करते हैं। कभी-कभी यकीन नहीं होता है कि मन की बात को इतने साल गुजर गए। हर एपिसोड अपने आप में खास रहा। हर बार भारतीयों की नई सफलता का विस्तार, इसमें कोने-कोने से लोग जुड़े, हर आयु वर्ग के लोग जुड़े।

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