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मंत्री ने निकायों से मांगा स्वर्णरेखा नदी में गिरने वाले छोट-बड़ो नालों का विवरण, जानें  क्या है पूरा मामला

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द फॉलोअप डेस्क  

जमशेदपुर की लाइफ लाइन स्वर्णरेखा नदी  जल्द ही शहरी प्रदूषण से मुक्त होगी। नदी के घटते जल स्तर एवं बढ़ते जल प्रदूषण को मंत्री बन्ना गुप्ता ने चिंता जताई। इसे लेकर मंत्री बन्ना गुप्ता ने जल संसाधन विभाग के विभागीय मंत्री सह मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन एवं विभागीय सचिव से स्वर्णरेखा नदी के संरक्षण एवं सौंदर्यकरण के लिए विस्तृत चर्चा की। इस मौके पर उन्होंने जल संसाधन विभाग के मंत्री सह मुख्यमंत्री से आग्रह किया है कि सचिव को निर्देशित कर चांडिल डैम से संतुलित जल प्रवाह छोड़ने का इंतज़ाम किया जाए। जिससे स्वर्णरेखा नदी में जमे गंदे पानी एवं जलकुंभी बह जाएगा एवं जल के प्रदूषण स्तर में तत्काल सुधार आ जाएगा। ये जानकारी 27 मई शनिवार को स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता के कार्यालय से प्रेस विज्ञप्ति जारी कर दी गई है। बताया कि शहर के नालों के पानी नदी में सीधा संचार होना स्वर्णरेखा नदी के जल प्रदूषण का मुख्य कारण बनता जा रहा है। इसे लेकर मंत्री बन्ना गुप्ता ने जल्द ही जमशेदपुर डीसी के साथ एक उच्चस्तरीय बैठक करेंगे। इसके अलावा मंत्री ने जमशेदपुर अधिसूचित क्षेत्र समिति, मानगो अधिसूचित क्षेत्र समिति एवं टाटा स्टील यूटिलिटी एंड इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड को नदी से मिल रहे सभी छोटे एवं बड़े नालों का विवरण उक्त बैठक में प्रस्तुत करने को कहा है।

अर्बन डेवलपमेंट डिपार्टमेंट को भेजा जाएगा कार्य योजना

बैठक में नदी में गंदा पानी जाने से रोकने के लिए अभी तक कि क्या योजना बनी है एवं क्या बनाने की आवश्कता है। इस संबंध में चर्चा की जाएगी। इसके साथ ही निकायों एवं टाटा स्टील यूटिलिटी एंड इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड का मानक संचालन प्रक्रिया जाना जाएगा। उसके बाद जल्द वृहत कार्य योजना बना कर अर्बन डेवलपमेंट डिपार्टमेंट को भेजा जाएगा, ताकि नाले में आने वाले गंदे पानी को नदी में जाने से रोका जा सके। इस बन्ना ने कहा कि स्वर्णरेखा नदी और खरकई नदी के दोनों तरफ बड़े पैमाने पर पेड़ पौधा लगाने के लिए कार्य योजना भी तैयार की जाएगी। जिससे नदी के दोनों तरफ मनोरम स्थल विकसित होगा। जहां पर सुबह एवं संध्या समय जमशेदपुर के सभी वरिष्ठ नागरिक शांत क्षण बिता सकें। साथ ही प्राकृतिक वातावरण का लाभ भी ले सकें। मालूम हो कि स्वर्णरेखा नदी में शहर के कई छोटे-बड़े नालों का गंदा पानी जाता है, जिससे नदी प्रदूषित होती है। 

नदी हमारी मां समान है- बन्ना

मंत्री ने आगे कहा कि शहर में बड़े पैमाने में आम जनता फ्लैट में निवास करती है। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में लोग नदी के किनारे पहुंच कर अच्छे प्राकृतिक वातावरण का लाभ प्राप्त करेंगे। जो निकट भविष्य में दिखने लगेगा। बताया गया कि इसे लेकर विगत चार महीने से कार्य योजना पर विचार विमर्श की जा रही है। विगत कुछ माह पूर्व दोमुहानी का साफ- सफाई तथा नदी में गंदे नाले के पानी को प्राकृतिक विधि से शुद्ध करने के प्रथम प्रयोग किया गया।  जिसमें व्यापक सफलता मिली है। अब नदी को पूर्ण रूप से साफ रखने के कार्य योजना पर कार्य की जा रही है। जो आम जनता को बहुत जल्द देखने को मिलेगा। यहां के लोगों को स्वर्णरेखा नदी एवं खरकई नदी के संगम स्थल दोमुहानी में अंतर्राष्ट्रीय स्तर का गंगा आरती दो बार आयोजित कर आम जनता को आस्था से जोड़कर नदी के प्रति स्वच्छता की प्रतिबद्धता को दर्शाया गया। इस विषय पर सफल कार्य योजना को क्रियान्वित करने के लिए विशेषज्ञों के साथ सलाह भी ली जा रही है। वहीं, मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा कि मैं गरीब का बेटा हूं, मेरा बचपन और युवावस्था नदी के बीच बीता है। नदी हमारी मां समान है, इसे स्वच्छ रखने के लिए कोई कसर नही छोडूंगा।

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