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झारखंड में डेंगू ले रहा महामारी का रूप, एक सप्ताह में 4 मौत, निगम चलाएगा डोर टू डोर अभियान 

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द फॉलोअप डेस्कः 
राज्य में डेंगू का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। प्रदेश के कई जिलों से लगातार डेंगू के मरीज सामने आ रहे हैं। वर्तमान में जमशेदपुर की स्थिति सबसे खतरनाक बनी हुई है। प्रदेश में डेंगू के कुल मरीजों की संख्या 676 हैं, जिनमें से 478 मरीज सिर्फ जमशेदपुर में है। रांची में अब तक 56 मरीजों को चिन्हित किया जा चुका है। एक सप्ताह के भीतर राज्य में चार मरीजों की मौत डेंगू से हो गई है। ये सभी जमशेदपुर के ही रहने वाले थे। जमशेदपुर के बाद सबसे ज्यादा मरीज राजधानी रांची में हैं। जिनकी कुल संख्या 56 है, सरायकेला में 40, साहिबगंज में 30, पश्चिमी सिंहभूम में 6, पलामू में 12, बोकारो में 4, चतरा में 6, देवघर में 8 धनबाद में 4. दुमका में 2, गढ़वा में 4, गिरिडीह में 8, गुमला में 3, हजारीबाग में 6, जामताड़ा और कोडरमा में एक-एक मरीज चिन्हित किए गए हैं। इसको लेकर स्वास्थ्य विभाग ने अलर्ट जारी किया है और सभी जिला के उपायुक्तों को आवश्यक दिशा निर्देश दिया गया है। राजधानी रांची 56 मरीज विभिन्न अस्पताल में इलाजरत है। 


डोर टू डोर अभियान चलाया जाएगा
रांची शहर में डेंगू महामारी का रूप लेता जा रहा है इसके मरीजों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। इसको लेकर रांची नगर निगम भी रेस हो गया है। नगर निगम के प्रशासक अमित कुमार ने डेंगू व चिकनगुनिया के मरीजों को देखते हुए शहर के सभी 53 वार्डो में डोर टू डोर अभियान चलाने का निर्देश दिया है। इसको लेकर टीम भी बनायी गयी है। श्री कुमार ने निगम कर्मियों से कहा कि जिन वार्डो में सबसे अधिक लोगों की तबीयत खराब होने की शिकायत मिल रही है, वहां जाकर घरों की जांच करें, अगर डेंगू का लार्वा मिलता है, तो उसे नष्ट करने के लिए सघन अभियान चलायें। लार्वा की जांच करने के लिए नगर निगम ने 10 टीमों का गठन किया है। इसमें निगमकर्मियों के अलावा स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी भी शामिल रहेंगे. टीम घरों में घुसकर देखेगी कि कहीं पर जलजमाव तो नहीं है.. अगर घर के अंदर या छत पर जलजमाव मिलता है, तो फिर पानी की ऑन स्पॉट जांच की जायेगी। 


स्वास्थय विभाग तैयार है
स्वास्थ्य विभाग के पदाधिकारी डॉ. बीके सिंह ने स्वास्थ्य विभाग के ज्यादातर कर्मचारी और पदाधिकारी को जमशेदपुर में पदस्थापित किया गया है ताकि वहां पर लोगों को जागरूक कर डेंगू के प्रकोप को कम किया जा सके। उन्होंने आगे बताया कि राज्य के सभी जिलों के उपायुक्तों को स्वास्थ्य विभाग के वेक्टर बॉर्न डिजीज विभाग की तरफ से दिशा निर्देश जारी कर दिया गया है। इसके साथ ही सभी मल्टीपर्पस वर्कर को डेंगू की रोकथाम के लिए काम पर लगा दिया गया है। वहीं रिम्स में डेंगू के मरीज भर्ती हैं, उनके लिए स्पेशल वार्ड बनाए गए हैं। जहां अभी 18 मरीज भर्ती हैं। रिम्स में की गई तैयारी को लेकर रिम्स के जनसंपर्क पदाधिकारी डॉ. राजीव रंजन ने बताया कि 50 बेड की क्षमता वाले डेंगू वार्ड को तैयार कर दिया गया है। इसके साथ दवा की भी आपूर्ति स्टोर रूम में कर दी गई है और मरीजों के इलाज के लिए रिम्स के वरिष्ठ चिकित्सकों को कई जिम्मेदारियां भी दी गई है। 

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