द फॉलोअप डेस्क
भारत जोड़ो न्याय यात्रा (Bharat Jodo Nyaya Yatra) पर निकले राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने आज गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) पर आरोप लगाया कि उन्होंने उनको यानी राहुल को स्टूडेंट्स से मिलने नहीं दिया। कहा कि अमित शाह ने इसके लिए असम के सीएम हिमंत बिस्वा को फोन किया। बिस्वा के जरिये एक विश्वविद्यालय में होने वाले कार्यक्रम को रोक दिया गया। राहुल गांधी ये आरोप तब लगाया जब वे न्याय यात्रा के दौरान असम और मेघालय की सीमा पर थे। उन्होंने यहां जमा हुई छात्रों की भीड़ को संबोधित करते हुए कहा, मैं आपके विश्वविद्यालय आकर आपसे मिलना चाहता था। आपको सुनना चाहता था। आपसे कुछ कहना चाहता था। लेकिन गृहमंत्री अमित शाह के कहने पर वहां का कार्यक्रम रद्द कर दिया गया।
क्या कहा राहुल गांधी ने
बता दें कि राहुल गांधी का सीमा से लगे मेघायल के रीभोई में विज्ञान एवं प्रौद्योगिक संस्थान के छात्रों से मिलने कार्यक्रम पहले से तय था। इस कार्यक्रम को रद्द किये जाने पर राहुल ने ट्वीट किया, हिंदुस्तान के गृहमंत्री ने असम के मुख्यमंत्री को फोन कर कहा- राहुल गांधी को यूनिवर्सिटी के छात्रों से मिलने मत देना। फिर हिमंत सरमा ने यहां के यूनिवर्सिटी मैनेजमेंट को फोन लगाया और कहां कि राहुल गांधी असम और नॉर्थ ईस्ट के छात्रों से नहीं मिल सकते। इसलिए मैं आपकी यूनिवर्सिटी नहीं आ सका।
मंदिर जाने से रोकने पर ये कहा
वहीं, असम के मंदिर में एंट्री नहीं मिलने पर राहुल ने कहा कि भारत की सांस्कृतिक विविधता को शंकर देव जी ने भक्ति के माध्यम से एकता के सूत्र में पिरोया, लेकिन आज मुझे उन्हीं के स्थान पर माथा टेकने से रोका गया। मैंने मंदिर के बाहर से ही भगवान को प्रणाम कर उनका आशीर्वाद लिया। अमर्यादित सत्ता के विरुद्ध मर्यादा का यह संघर्ष हम आगे बढ़ाएंगे। कहा कि न्याया यात्रा को जितना अधिक दबाने की कोशिश हो रही है, उतनी ही इस यात्रा की लोकप्रियता और प्रासंगिकता बढ़ रही है।