द फॉलोअप डेस्कः
गुजरात में इन दिनों बोर्ड परीक्षा चल रही है। परीक्षा के पहले दिन कच्छ में एक पिता ने अपनी बेटी को गलत एग्जाम सेंटर पर छोड़ दिया था। लड़की जब परीक्षा केंद्र के अंदर जाकर अपना रोल नंबर ढूंढ रही थी तो उसे नहीं मिल रहा था। लड़की परेशान हो रही थी। वह काफी देर से अपना रोल नंबर खोजती रही। फिर उसे पता चला कि यह तो उसका एगजाम सेंटर है ही नहीं। उसका असल सेंटर वहां से 20 किलोमीटर दूर है, जहां वह उस वक्त थी। यह सोचकर उसके हाथ पैर फूलने लगे छे। वह और ज्यादा इसलिए घबरा गई थी क्योंकि परीक्षा शुरू होने में ज्यादा समय नहीं बचा था। उसकी घबराहट उस परीक्षा सेंटर पर तैनात एक पुलिस अधिकारी ने भाप लिया। उसके पास गये और घबराहट की वजह पूछी। लड़की ने अपनी परेशानी बताई। इंसपेक्टर को अपना एडमिट कार्ट दिखाया। इसके बाद इंसपेक्टर ने सोचने में जरा भी समय नहीं गवाया। उन्होंने अपनी सरकारी गाड़ी निकाली छात्रा को बैठाया और हूटर बजाते हुए उस बच्ची को उसके परीक्षा केंद्र पर सही समय पहुंचा दिया। इससे उस लड़की का एक साल बिगड़ने से बच गया। जिस पुलिस कर्मी ने मदद की है उनकी पहचान भुज ए डिवीजन के पीआई जेवी धोला के रुप में हुई है। दरअसल कच्छ के गांधीधाम में रहने वाली हाईस्कूल की छात्रा निशा जयंतीभाई सवानी पहले दिन परीक्षा देने के लिए भुज पहुंची थी। निशा के पिता ने उन्हें भूलवश मातृछाया स्कूल में उतार दिया, लेकिन निशा को बाद में पता चला की वह गलत परीक्षा केंद्र पर पहुंच गई हैं, और उसका एग्जाम सेंटर आर डी वरसानी है। निशा काफी परेशान थी। तब उसकी मदद के ड्यूटी पर तैनात पीआई जेपी धोला आगे आए और उसे सही परीक्षा केंद्र पर पहुंचाया। पुलिस इंस्पेक्टर के छात्रा की मदद करने की सोशल मीडिया पर खूब तारीफ हो रही है। यह मामला सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद गृह राज्य मंत्री हर्ष संघवी तक पहुंचा तो उन्होंने भी ट्विवटर पर हैट्स ऑफ लिखकर तारीफ की है। इधर पीआई जेवी धोला का कहना है कि मुझे इस बात की खुशी है कि मैं बच्ची को परीक्षा केंद्र लेकर गया, हालांकि, यह पहला मौक़ा नहीं जब भी मुझे परेशान लोग दिखते हैं तो मैं उनकी मदद करता रहता हूं। लेकिन इस बार चर्चा में आ गया। सोशल मीडिया पर पुलिस वाले की दरियादिली की खूब सराहना हो रही है।
उस छात्रा को समय पर परीक्षा केंद्र पहुंचाने के लिए अपनी पुलिस जीप से सायरन बजाते हुए जानें का फैसला किया। उस दयालू पुलिस अधिकारी ने छात्रा को पुलिस सायरन बजाते हुए समय पर 20 किमी दूर के उसके परीक्षा केंद्र पर पहुंचा दिया। छात्रा अपने सही परीक्षा केंद्र जैसे ही पहुंची उसकी आंख खुशी से भर आई उसने पुलिस अधिकारी को थैंक्यू कहा क्योंकि उनकी मदद की वजह से उसकी पढ़ाई का पूरा एक साल बच जाएगा। इसके बाद फटाफट अपनी परीक्षा देने के लिए अपने सेंटर में अपनी कक्षा की ओर भागी।
उनसे जुड़ा हर पोस्ट काफी वायरल हो रहा है, लोग उनकी तस्वीर पर लाइक्स और कमेंट्स करते हुए पुलिस अधिकारी की तारीफ कर रहे हैं। एक यूजर ने लिखा, पुलिस अधिकारी की ओर से करुणा और कर्तव्यपरायणता की भावना का क्या अद्भुत उदाहरण है। वहीं दूसरे ने लिखा कमाल की स्टोरी, पुलिस हर जगह है, लेकिन... ये कहांनियां देखना भी अच्छा लगता है। एक तीसरे यूजन ने लिखा सोशल मीडिया यही करने के लिए था, नेक लोगों का जश्न मनाएं। प्यारी कहानी। वहीं एक ने लिखा ऐसी घटनाएं पुलिस और मानवता में हमारे विश्वास को पुर्नजीवित करती हैं। इससे यही पता चलता है कि समाज में आज भी अच्छे पुलिस है