रांची:
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा है कि यदि ईडी गलती से भी उनके पास पहुंच गई तो उसे कितनी परेशानी होगी इसका अंदाजा नहीं है। मुख्यमंत्री ने दिल्ली प्रवास के दौरान एक निजी समाचार चैनल को दिए इंटरव्यू में उपरोक्त बातें कही। दरअसल, मुख्यमंत्री से पूछा गया था कि क्या प्रदेश में ईडी की कार्रवाई उन तक पहुंचने की साजिश है। मुख्ममंत्री ने कही कि ईडी एक खास मंशा के तहत कार्रवाई कर रही है। जब ईडी से सब संभव नहीं हुआ तो सीबीआई को भी लगा दिया गया है।
ईडी की कार्रवाई से कोई एतराज नहीं
मुख्मयंत्री ने ये भी कहा कि वे सभी बातों का सही वक्त पर जवाब देंगे चाहे वो राजनीतिक हो या कानूनी। मुख्यमंत्री ने कहा कि ईडी जिस भी दिशा से आएगी वे सामना करने के लिए तैयार हैं। वे हर जांच के लिए तैयार हैं। सारे सवालों का जवाब देंगे। ईडी की छापेमारी को लेकर सीएम हेमंत सोरेन ने कहा कि ये तो एजेंसियों का कानूनी कर्तव्य है लेकिन मंशा पर संदेह है।
ईडी ने अब तक नहीं बताया कि जांच में क्या प्रगति हुई। क्या मिला। केस की स्थिति क्या है। उन्होंने कहा कि हम भी चाहते हैं कि दूध का दूध और पानी का पानी हो। मुख्यमंत्री ने कहा कि ईडी जिस मनरेगा घोटाला का जांच करने पहुंची है वो 2008 का मामला है। उस समय प्रदेश में बीजेपी का शासन था। मनरेगा को लेकर तो बात ही नहीं हो रही।
मुख्यमंत्री ने बीजेपी की मंशा पर उठाये सवाल
केंद्र द्वारा निशाना बनाए जाने के सवाल पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि बीजेपी की यही फितरत है। हमारा ध्यान केवल इस बात पर है कि कैसे राज्य की सवा 3 करोड़ जनता के लिए केंद्र से अधिकार लिए जाएं। हमारा विकास लोक-कल्याणकारी योजनाओं के बेहतर क्रियान्वयन पर है। हेमंत सोरेन ने कहा कि हमारी सरकार राज्य की प्रगति के प्रति प्रतिबद्ध है।
पहले भी ईडी की कार्रवाई पर निशाना साध चुके हैं सीएम
इससे पहले भी रविवार को एक प्रेस वार्ता के दौरान मुख्यमंत्री ने झारखंड में ईडी की कार्रवाई पर सवाल खड़ा किया था। कहा था कि ईडी ने अब तक की जांच में क्या हासिल किया, अभी तक ना तो अपनी वेबसाइट में बताया औऱ ना ही सार्वजनिक बयान दिया। मुख्यमंत्री ने ये भी कहा था कि वे ईडी की गीदड़भभकी से डरते नहीं है। कहा कि मनरेगा की जांच के लिए झारखंड पहुंचे पदाधिकारी खूंटी और चतरा गये ही नहीं जहां घोटाला हुआ था। मेरे संज्ञान में ये बात नहीं है।