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BJP ने रिपोर्ट कार्ड में लगाया आरोप, 2 साल में खेल नीति तक नहीं बना पाई मौजूदा सरकार

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द फॉलोअप टीम, रांचीः


राज्य सरकार के 2 वर्ष के कार्यकाल को भाजपा ने बिंदुवार तरीके से उजागर किया है। कहा है कि हेमंत सरकार के कार्यकाल का 2 वर्ष बेहद कष्टकारी तथा निराशाजनक साबित हुआ है। इन 2 वर्षों में राज्य ने केवल अराजकता, कुशासन भ्रष्टाचार एवं अक्षम शासन को देखा है। इस सरकार ने युवाओं, किसानों महिलाओं व आदिवासियों के हितों पर प्रहार किया है। बीजेपी ने आरोप लगाया है कि राज्य में ऐसे मुख्यमंत्री काम कर रहे हैं जो जनहित को ताक पर रखकर परिवारवाद को बढ़ावा देते हैं। 

खेल नीति की आलोचना 
बीते कुछ महीनों में राज्य की हेमंत सरकार ने खिलाड़ियों को सीधी नियुक्ति देने की योजना के तहत नियुक्ति पत्र का वितरण किया। ओलंपिक खिलाड़ी सलीमा टेटे, निकी प्रधान और दीपिका कुमारी को सम्मानित किया। हालांकि बीजेपी ने हेमंत सरकार की खेल नीति की भी आलोचना की। कहा कि कई घोषणाओं के बाद भी राज्य सराकर खेल नीति नहीं बना पाई। होटवार में स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी बनाने की बात थी लेकिन ये नहीं बन पाया। पूरा राज्य महज 20 आवासीय प्रशिक्षकों के भरोसे है। प्रक्रिया पूरी होने के बाद भी फुटबॉल व एथलेटिक्स का सेंटर फॉर एक्सीलेंस एकल्वय अकादमी नहीं खुल पाई है। 

नहीं है मूलभूत सुविधाएं 
भाजपा ने यह भी आरोप लगाया है कि 4 जिलों में डीएसओ की ड्यूटी प्रभार में है। चतरा, पाकुड़, धनबाद में कोई सेंटर नहीं है लेकिन वहां डीएसओ की तैनाती की गई है। आवासीय सेंटर्स में स्पोर्ट्स मेडिसीन, साइक्लोजिस्ट, लाइब्रेरी का सपना धरातल में नहीं उतरा। रांची को छोड़ कहीं भी मूलभूत आधारभूत संरचना नहीं है। 

एक भी प्रशिक्षक की नियुक्ति नहीं 
जमशेदपुर में टाटा व धनबाद-बोकारो सीआईएल के भरोसे राज्य सरकार सभी प्रखंडों में स्टेडियम व पंचायतों मं खेल मैदान निर्माण की योजना अधर में लटकी है। 9 जिला में आवासीय सेंटर नहीं है। होटवार की खेल अकादमी व राज्य सरकार के आवासीय सेंटरों में बच्चों की संख्या नहीं बढाई गई। 2 साल में राज्य सरकार 1 भी प्रशिक्षक की नियुक्ति नहीं कर पायी।