द फॉलोअप टीम रांची :
दुमका के मलूटी गांव में 1720 से 1845 के बीच 20-20 मंदिरों के समूह इतिहास, पुरातत्व और पर्यटन की दृष्टि से आज भी उतने ही महत्व के हैं। यही कारण है कि इसे भारत के विश्व धरोहर की सूची में शामिल कराने के प्रयास किए जा रहे हैं। लेकिन उस स्थापत्य और वास्तु सौंदर्य का पान कराने के लिए डॉ सोमनाथ आर्य ने मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन को उन मलूटी मंदिरों का टेराकोटा मॉडल बतौर तोहफा शुक्रवार को सौंपा। उन्होंने मुख्यमंत्री को बताया कि देखभाल और संरक्षण के अभाव में पहले 108 मंदिर हुआ करता था, आज इसकी संख्या घटकर 62 हो गई है। इस ऐतिहासिक इलाके को टूरिस्ट स्पॉट के रूप में विकसित करने की काफी संभावनाएं हैं। इस दिशा में सरकार को आगे आना चाहिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि मलूटी स्थित ऐतिहासिक मंदिरों के संरक्षण और मरम्मत को लेकर सरकार गंभीर है। इस दिशा में बहुत जल्द कदम उठाए जाएंगे। सोमनाथ मुख्यमंत्री को अपनी पुस्तक "बियॉन्ड कंपैरिजन मलूटी " पहले ही दे चुके हैं।
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