द फॉलोअप डेस्क
पुलिस की जांच के बाद नालंदा के रहने वाले संजीव मुखिया को नीट पेपर लीक कांड का बिहार में मास्टर माइंड बताया जा रहा है। आऱोप है कि नीट परीक्षा का प्रश्नपत्र सबसे पहले इसी संजीव मुखिया के पास पहुंचा। उसके इसे विभिन्न लोगों को बेचा गया। बता दें कि संजीव मुखिया बीएससी शिक्षक बहाली पेपर लीक मामले में भी जेल जा चुका है और उसका बेटा डॉक्टर शिव कुमार इसी मामले में अभी भी जेल में बंद है। शिवकुमार ने पीएमसीएच से एमबीबीएस की पढ़ाई की है। नीट पेपर लीक मामले में सिकंदर, अमित, अनुराग, अंशुल और अतुल के बाद संजीव मुखिया का नाम सामने आया है। पुलिस इसकी तलाश में है।
पहले चपरासी था संजीव
मिली खबर के मुताबिक संजीव मुखिया उर्फ लूटन पहले चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी यानी चपरासी था। फिर वो गांव की राजनीति में उतरा और जल्दी ही गांव की पंचायत का मुखिया बन गया। तभी से उसके नाम के साथ मुखिया शब्द जुड़ा हुआ है। लोगों के छोटे-छोटे काम कराने वाला मुखिया कब पेपर लीक का माफिया बन गया और उसने पेपर लीक को कैसे अपना फैमिली बिजनेस बना लिया इसकी शुरुआत में किसी को भनक तक नहीं लगी। बिहार पुलिस बड़ी शिद्दत से मुखिया की तलाश में है। मुखिया के बेटे शिव कुमार को बिहार पुलिस 2 मामलों में गिरफ्तार कर चुकी है।
सिपाही भर्ती परीक्षा में भी आया था नाम
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार नीट पेपर लीक मामले में नालंदा जिले के भुतहाखार गांव का संजीव मुखिया मास्टर माइंड और किंगपिन है। शिव कुमार पहले से ही BPSC पेपर लीक मामले में जेल में बंद है। संजीव मुखिया का नाम 2016 में हुई सिपाही भर्ती परीक्षा में भी आया था। इसके साथ ही, बिहार पब्लिक सर्विस कमीशन समेत कुछ अन्य परीक्षाओं के पेपर लीक मामले में उसकी भूमिका पाई गयी है। संजीव पहले भी जेल जा चुका है। लेकिन पहुंच और पैरवी के कारण उसे जल्द ही जमानत मिल गयी।