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खूंटी : IAS अधिकारी की हरकत से शर्मिंदा हुआ झारखंड, IIT की छात्रा ने लगाया गंभीर आरोप

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डेस्क: 

आईएएस अधिकारियों की कारस्तानी की वजह से पहले ही शर्मिंदगी झेल रहा हमारा झारखंड एक और अधिकारी की हरकत की वजह से शर्मसार हुआ है। उच्च प्रशासनिक ओहदे पर होते हुए भी इस आईएएस अधिकारी ने जो कांड किया, वो बेहद शर्मनाक है। क्या होगा यदि रक्षक ही भक्षक बन जायें। अब तक सुना था लेकिन झारखंड के इस आईएएस अधिकारी ने इसे चरितार्थ कर दिया।

नाम है सैयद रियाज अहमद। 2019 बैच के आईएएस अधिकारी हैं। फिलहाल खूंटी जिले में एसडीएम के पद पर कार्यरत हैं।

सैयद रियाज अहमद पर एक छात्रा का यौन उत्पीड़न करने का आरोप लगा है। आरोप कितना गंभीर है, इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि एसडीएम साहब जेल भेजे जा चुके हैं। 

एसडीएम ने अपने आवास पर किया यौन उत्पीड़न! 
खूंटी के एसडीएम सैयद रियाज अहमद (Khunti SDM Syed Riaz Ahmed) पर आरोप है कि उन्होंने आईआईटी की एक छात्रा (IIT Student) के साथ अपने आवास में अश्लील बातें की। अश्लील हरकत की। उसे गलत तरीके से छूआ। जबरन किस करना चाहा। एसडीएम रियाज अहमद ने ये अनैतिक हरकतें उस छात्रा के साथ की जो उनके अंडर कुछ सीखने, कुछ पढ़ने आई थी। जो रियाज अहमद को अपना गुरु मान रही थीं। एक आईएएस अधिकारी की इस हरकत ने गंभीर सवाल खड़ा कर दिया है।

सवाल कि क्या इतने ऊंचे पदों पर बैठे लोगों में सामान्य सा भी नैतिक चरित्र है। जिन पर समाज में व्यवस्था कायम करने की जिम्मेदारी है क्या वे खुद व्यवस्थित हैं। रियाज अहमद ने अपनी हरकत से यही साबित किया है कि ऊंचे पद पर पहुंचने के लिए उन्होंमे किताबें जरूर बांची होंगी लेकिन उनमें भीषण मानसिक दिवालियापन है। अगर नहीं तो ऐसी हरकत नहीं करते। 

इंटर्नशिप के लिए आई छात्रा के साथ किया यौन उत्पीड़न
चलिए अब घटनाक्रम की बात करते हैं। शुरू से शुरू करते हैं। दरअसल, आईआईटी मंडी (IIT Mandi) के छात्र और छात्राएं 20 दिन के एजुकेशन टूर और इंटर्नशिप के लिए झारखंड के खूंटी जिले में आये थे। इसी ग्रुप में पीड़िता भी थीं। पीड़िता हिमाचल प्रदेश की रहने वाली है और आईआईटी मंडी में रूरल डेवलपमेंट की छात्रा है। उनको एसडीएम रियाज अहमद के अंडर कुछ दिनों तक रहकर ग्रामीण विकास से संबंधित कुछ बेसिक चीजें सीखनी थीं। इसी बीच 1 जुलाई की रात को खूंटी एसडीएम सैयद रियाज अहमद ने एक पार्टी रखी। छात्र-छात्राओं को इसमें बुलाया। पार्टी में सबको शराब भी परोसी गई।

खूंटी महिला थाना में दर्ज कराई गई शिकायत में पीड़िता ने बताया कि शराब पार्टी के दौरान एसडीएम साहब मुझे लगातार गलत नीयत से घूर रहे थे। एक समय ऐसा भी आया जब पार्टी में बहुत कम लोग बचे। इसी दौरान एसडीएम पीड़िता को अलग में ले गये और अश्लील बातें करने लगे। गलत तरीके से छूने लगे। जबरन किस करने की कोशिश की। यौन संबंध स्थापित करने की भी मांग की।

पीडि़ता ने बताया कि वो किसी तरह वहां से भाग निकली और अपने साथियों के साथ एसडीएम आवास से बाहर निकल गई। घटना के चौथे दिन यानी 4 जुलाई को पीड़िता अपनी 8 साथियों के साथ महिला थाना पहु्ंची और केस दर्ज कराया।

प्राथमिकी दर्ज करने के बाद एसडीएम भेजे गए जेल
मामले में खूंटी जिला के एसपी अमन कुमार (Khunti SP Aman Kumar) ने बताया कि पीड़िता की शिकायत पर एसडीएम रियाज अहमद के खिलाफ आईपीसी की धारा 354, 354ए और 509 के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई। उनको हिरासत में लिया गया और पूछताछ के बाद जेल भेज दिया गया। पीड़िता का मेडिकल करवाया जा रहा है। सीजेएम कोर्ट में धारा164 के तहत पीड़िता का बयान दर्ज किया जा रहा है। सोचिये जरा। जो पीड़िता यहां शैक्षणिक भ्रमण पर आई थी। उसे यौन उत्पीड़न झेलना पड़ा।

किसी सड़क छाप गुंडे-बदमाश से नहीं बल्कि एक आईएएस अधिकारी से। पीड़िता क्या महसूस करती होगी। गौरतलब है कि एसडीएम रियाज अहमद 2019 बैच के आईएएस अधिकारी हैं। उनकी पत्नी भी आईएएस हैं और फिलहाल छत्तीसगढ़ में पदस्थापित हैं। 

क्या लड़की का शराब पीना एसडीएम को हिंट लगा
आप में से बहुत सारे लोगों ने पिंक मूवी देखी होगी। इसमें कुछ लड़कियां कुछ लड़कों पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाती हैं। उनका वकील आरोपियों से पूछता है कि आपने लड़कियों के साथ ऐसा क्यों किया। लड़के जवाब में कहते हैं कि लड़कियां हिंट दे रही थी। वकील बने अमिताभ बच्चन पूछते हैं कि कैसा हिंट। लड़के कहते हैं। रात को लड़कों के फ्लैट में आ जाना। साथ बैठकर शराब पीना। हंस-हंसकर बातें करना। ये हिंट नहीं तो क्या है। क्या खूंटी वाले मामले से ये मेल नहीं खाता। रात का वक्त।

एसडीएम का आवास। शराब पार्टी। लड़की का खुलकर बात करना और एसडीएम साहब का इसे हिंट समझ लेना। ताज्जुब की बात है कि उस अधिकारी को ये हिंट लगा जिनसे उच्च नैतिक मानदंड की अपेक्षा की जाती है। प्रगतिशील होने की उम्मीद की जाती है।

उम्मीद की जाती है कि वे समाज में मिसाल कायम करेंगे। एसडीएम साहब ने मिसाल कायम की है लेकिन इस बात की, कि ये जरूरी नहीं कि ऊंचे पद पर बैठे व्यक्ति की मानसिकता भी ऊंची हो।