रांची
झारखंड में व्याप्त भ्रष्टाचार के कारण जनता त्राहिमाम है। सरकार और ब्यूरोक्रेसी में व्याप्त करप्शन के कारण राज्य का विकास बाधित हो रहा है। झारखंड अगेंस्ट करप्शन के प्रतिनिधिमंडल ने इस आशय का एक ज्ञापन राज्यपाल संतोष गंगवार को सौंपा। जिसमें कहा गया है कि कालांतर से भ्रष्टाचार की कलंक कथाओं से कराह रहा रत्नगर्भा झारखंड राज्य राजभवन के दखल से भ्रष्टाचार से मुक्त हो। झारखंड में होने वाली नियुक्तियां अक्सर विवादों में ही रही हैं, जिसके कारण राज्य के युवाओं में निराशा का भाव व्याप्त है। राज्यपाल से आग्रह किया गया कि पारदर्शिता के साथ भर्ती प्रक्रिया झारखंड में पूरी हो इसके लिए राजभवन भी समय-समय पर इसमें हस्तक्षेप करे। वहीं ज्ञापन में यह भी कहा गया कि वर्तमान ज़िला मुख्यालय पलामू से 50 किमी की दूरी पर स्थित छतरपुर अनुमण्डल को जिला बनाने की पहल आपके द्वारा की जाये।
ज्ञापन में बताया गया है कि वर्षों तक नक्सलवाद का दंश झेल रहे छतरपुर के जिला बनने से इलाके का विकास और उत्थान तेज़ी से सम्भव हो पायेगा। राज्यपाल को यह भी बताया गया कि झारखंड एक अत्यंत रमणीक और रत्नगर्भा धरती है जहां के जर्रे-जर्रे में स्वाधीनता के नायकों की वीरता के गीत गाये जाते हैं। लेकिन इस राज्य को राष्ट्र के फलक पर जहां होना चाहिए था, आजतक वहां नहीं पहुंच पाया है। राज्यपास से आग्रह किया गया कि उनकी निगहबानी में झारखंड का विकास सुनिश्चित हो, राज्य भ्रष्टाचार से मुक्त हो।
राज्यपाल ने प्रतिनिधिमंडल को कहा कि वर्तमान में हो रहे चुनाव में संगठन जन जागरुकता का काम करे, ताकि अच्छे लोग चुन कर आयें और नेतृत्व करें। ताकि राज्य में भ्रष्टाचार कम हो और राज्य का विकास तीव्रगति से हो। प्रतिनिधिमंडल ने राज्यपाल को आश्वस्त किया कि झारखंड अगेंस्ट करप्शन राज्य में जन जागरुकता अभियान चलाएगी। संगठन के केंद्रीय अध्यक्ष दुर्गा उरांव मुंडा ने ज्ञापन सौंपने के बाद कहा कि संगठन भ्रष्टाचार के मुद्दे पर बेहद गम्भीर है। जल्द ही एक ड्राइव चलाकर लोगों को जोड़ा जाएगा और एकबार फिर से भ्रष्टाचार के खिलाफ आंदोलन का शंखनाद किया जाएगा। प्रतिनिधिमंडल में मुख्य रूप से केन्द्रीय अध्यक्ष दुर्गा उरांव मुंडा, केन्द्रीय संयोजक चितरंजन कुमार, उपमहासचिव अमित यादव, सह संगठन महामंत्री अरविंद एवं केन्द्रीय सदस्य संतोष कुमार सिंह शामिल थे।