रांची :
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से जुड़े शेल कंपनी व खनन पट्टा मामले पर आज झारखंड हाईकोर्ट में सुनवाई की गई। सुनवाई के दौरान खंडपीठ को महाधिवक्ता ने बताया कि इस मामले में वे सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल करने जा रहे हैं। इसे ध्यान में रखते हुए फिलहाल सुनवाई रोक दी जाए। लेकिन, खंडपीठ ने कहा कि मामले की सुनवाई हाईकोर्ट में जारी रह सकती है। साथ ही अदालत ने यह भी कहा कि आपको मामले में कहीं भी चुनौती देने की आजादी है।
चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन और जस्टिस एस एन प्रसाद की बेंच ने की सुनवाई
प्रदेश के सीएम से जुड़े मामले की सुनवाई चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन और जस्टिस एस एन प्रसाद की बेंच मे हुई। सुनवाई किये गए दोनों मामलों के प्रार्थी शिव शंकर शर्मा है और अधिवक्ता राजीव कुमार है।
पिछली सुनवाई में हाईकोर्ट ने याचिका को सुनवाई योग्य बताया
मालूम हो कि पिछली सुनवाई मे हाईकोर्ट ने दोनों याचिका को मेंटेंएबल बताते हुए सुनवाई जारी रखने का आदेश दिया था। इससे पहले सीएम हेमंत सोरेन की ओर से अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने मामले की सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट में याचिकाकर्ता पर सवाल उठाया था।
CBI से जांच की है मांग
प्रार्थी शिव शंकर शर्मा की ओर से 11 फरवरी को दायर जनहित याचिका में कहा गया है कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के जिम्मे खनन और वन पर्यावरण विभाग भी हैं। उन्होंने स्वंय पर्यावरण क्लीयरेंस के लिए आवेदन दिया और खनन पट्टा हासिल किया है, जो जनप्रतिनिधि अधिनियम का उल्लंघन है। प्रार्थी ने याचिका के माध्यम से हेमंत सोरेन की सदस्यता रद्द करने की मांग करते हुए पूरे मामले की सीबीआइ से जांच की भी मांग की है।