द फॉलोअप डेस्क, रांची:
झारखंड विधानसभा में हेमंत सोरेन सरकार ने विश्वास मत जीता। इस मौके पर सदन को संबोधित करते हुए नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी ने हेमंत सोरेन सरकार के 5 साल के कार्यकाल को वादाखिलाफी, ठगी, छल और विधि-व्यवस्था के लिहाज से खराब अनुभव वाला बताया। अमर बाउरी ने कहा कि विश्वास मत हासिल करने आये मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को अपने विधायकों पर ही भरोसा नहीं है। परेशानी ये है कि इस सरकार के 2 साल का कार्यकाल ही बचा है लेकिन सत्तापक्ष के सभी विधायक मंत्री बनना चाहते हैं। अमर बाउरी ने कहा कि हेमंत सोरेन सरकार 5 साल में रोजगार, कल्याणकारी योजना और विधि-व्यवस्था सहित हर मोर्चे पर विफल रही है। जनता को भ्रम में रखा गया। लोक-लुभावने वादे किए। एक भी पूरा नहीं किया।
झारखंड विधानसभा के विशेष सत्र में "विश्वास मत" से पूर्व संबोधन के माध्यम से गुंडाराज का पर्याय, युवा-महिला-दलित विरोधी "भ्रष्टाचारी" झामुमो-कांग्रेस-राजद सरकार को आईना दिखाने का काम ... pic.twitter.com/9IKKQDCKqZ
— Amar Kumar Bauri (@amarbauri) July 8, 2024
रोजगार के मुद्दे पर हेमंत सरकार ने वादाखिलाफी की!
अमर बाउरी ने कहा कि चुनाव पूर्व हेमंत सोरेन ने वादा किया था कि युवाओं को प्रतिवर्ष 5 लाख सरकारी नौकरी और बेरोजगारों को बेरोजगारी भत्ता दिया जायेगा। दोनों ही वादा अधूरा है। जो कुछ हजार नौकरियां देने के लिए प्रतियोगी परीक्षाओं का आयोजन हुआ, उसमें भी कदाचार हुआ। कभी पेपर लीक हुआ तो कभी नौकरियां बेच दी गई। उन्होंने पीजीटी टीचर नियुक्ति में कथित धांधली, जेएसएससी सीजीएल पेपर लीक और जेई परीक्षा पेपर लीक का मामला उठाते हुए कहा कि किसी भी मामले में जांच की प्रक्रिया अंजाम तक नहीं पहुंची। सीजीएल पीरक्षा पेपर लीक मामले में एसआईटी का गठन हुआ था। विधानसभा के 2 कर्मचारी पकड़े गये। आगे जांच में क्या हुआ, नहीं पता। जेई परीक्षा में प्राथमिकी हुई। 1 व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया। ये जांच भी आगे नहीं बढ़ी।
पीजीटी टीचर नियुक्ति में धांधली का आरोप लगाकर 23 दिन से अभ्यर्थी राजभवन के सामने धरना दे रहे हैं। सबूत है कि जिस एजेंसी को जेएसएससी सीजीएल परीक्षा में पेपर लीक की वजह से ब्लैक-लिस्ट किया गया, उसे ही पीजीटी टीचर नियुक्ति परीक्षा कराने का जिम्मा सौंपा गया। उक्त एजेंसी दूसरे राज्यों में ब्लैत-लिस्ट हो चुकी है।
अनुबंधकर्मियों को भी गठबंधन सरकार में निराशा मिली!
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि हेमंत सोरेन ने सहायक पुलिसकर्मियों से स्थायीकरण और वेतन-वृद्धि का वादा किया था। आंगनबाड़ी सेविका-सहायिका और पोषण सखी के मानदेय में वृद्धि का वादा किया था। पारा टीचर्स भी वादा किया था कि उनको स्थायी किया जायेगा। नियमित वेतनमान मिलेगा लेकिन, सारा वादा अधूरा है। सरकार ने वादा करके मिठाइयां खा ली। माला पहन ली। हकीकत क्या है? सहायक पुलिसकर्मी अपनी मांगों की खातिर सड़क पर आंदोलन कर रहे हैं। पारा टीचर भी आंदोलन की तैयारी कर रहे हैं।
झारखंड में विधि-व्यवस्था की हालत दयनीय हो गई है
अमर बाउरी ने कहा कि राज्य में विधि-व्यवस्था की स्थिति भी भयावह है। कल मुख्यमंत्री जगन्नाथपुर मंदिर में पूजा कर रहे थे। विधानसभा का सत्र आहूत किया गया था। इलाके में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी थी। बावजूद इसके, 500 मीटर की परिधि में दिनदहाड़े गोली चली। निवर्तमान पार्षद को गोली मार दी। वेद प्रकाश ने जान पर खतरे की आशंका जताई थी। पुलिस को सूचना दी थी। तमाम वरीय पुलिस पदाधिकारी उसी इलाके में थे बावजूद इसके अपराधी बेखौफ हैं। अमर बाउरी ने आरोप लगाया कि प्रशासन के संरक्षण में झारखंड में अपराध हो रहा है।
अमर बाउरी ने कहा कि पाकुड़ के गोपीनाथपुर में त्योहार की आड़ में हिंदू आबादी पर हमला किया गया। पश्चिम बंगाल से आये गुंडों ने गोपीनाथपुर में बमबाजी की। घर जलाये। जानलेवा हमला किया। लोग सुरक्षा मांग रहे हैं लेकिन प्रशासन उदासीन बना हुआ है। उन्होंने कहा कि संताल परगना के सभी जिलों में डेमोग्राफी बदल गई है। हम चिंता जताते हैं तो सरकार कहती है कि राजनीति हो रही है लेकिन, अब तो हाईकोर्ट ने भी माना है।
उपायुक्तों को निर्देश दिया है कि बांग्लादेशी घुसपैठियों को चिन्हित कर उनको बाहर किए जाने के तरीकों पर सुझाव दीजिए। अमर बाउरी ने कहा कि ये लूट-झूठ की सरकार है।