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Ranchi : आंसू की हर बूंद का बदला लेंगे, रांची हिंसा में मारे गये युवकों के परिजनों से मिलकर बोले इरफान अंसारी

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डेस्क: 

इरफान अंसारी (Irfan Ansari) यहां लाल प्लास्टिक की कुर्सी पर बैठे हैं। साथ में पूर्व विधायक बंधु तिर्की (Bandhu Tirkey) और विधायक उमाशंकर अकेला (Umashankar Akela) हैं। राजेश कच्छप भी पास ही मौजूद हैं। दो अलग-अलग वीडियो में इरफान अंसारी रांची हिंसा (Ranchi Violence) में मारे गये साहिल और मुद्दस्सिर के परिवार वालों के साथ गुफ्तगू कर रहे हैं।

इसी बीच जब इरफान अंसारी मुद्दस्सिर (Mudassir) की मां को पैसों से भरा हुआ लिफाफा सौंपते हैं। कहते हैं रोइये मत। हम आपलोगों के साथ हैं।

आपके आंसू की एक-एक बूंद का बदला लिया जायेगा। जाने वाला चला गया। उसकी भरपाई नहीं की जा सकती लेकिन इरफान का वादा है कि वो हमेशा आपके साथ खड़ा रहेगा।

जब भी मदद की जरूरत होगी करेगा। 

इरफान अंसारी के बयानो से बन जाती है सुर्खियां
झारखंड (Jharkhand) की सियासत में जो कोई नहीं करता वो इरफान अंसारी करते हैं। जो कोई नहीं कहता वो इरफान अंसारी कह जाते हैं। इसके बाद चाहे विवाद हो तो हो। चाहे बवाल कटे तो कटे। कहना गलत नहीं होगा कि इरफान डज नॉट लाइक सुर्खियां बट सुर्खियां लाइक्स इरफान अंसारी। हिंदी तर्जुमा कुछ ऐसा है कि इरफान को भले ही सुर्खियां पसंद ना आती हो लेकिन सुर्खियों को इरफान पसंद है।

झारखंड के सियासी मौसम में हर महीने इरफान कुछ ना कुछ ऐसा करते हैं, कुछ ना कुछ ऐसा कहते हैं कि सुर्खियां बन जाती है। ऐसा ही फिर हुआ, जब इरफान अंसारी सोमवार की देर शाम रांची हिंसा में मारे गये साहिल (Sahil) और मुद्दस्सिर के परिवार वालों से मिलने पहुंचे। इसी सोमवार की दोपहर को इरफान अंसारी इस बात पर बमक गये थे कि कांग्रेस विधायक दल की बैठक में रांची हिंसा पर बात नहीं हुई। कांग्रेस कोटे का कोई मंत्री रांची हिंसा में मारे गये साहिल और मुद्दस्सिर के परिवार वालों से मिलने नहीं गया। सरकार ने मुआवजा नहीं दिया।


इरफान अंसारी ने बकायदा आरोप लगाया कि, ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि मामला अल्पसंख्यकों से जुड़ा है। इरफान अंसारी तो यहां तक बोल गये कि हजारीबाग में रुपेश पांडेय की मौत होती है तो झारखंड सरकार का आधा कैबिनेट हाजिरी लगाने पहुंच जाता है लेकिन रांची हिंसा में चूं तक नहीं करता। इरफान इतने नाराज थे कि मीटिंग बीच में छोड़ दी। 

कांग्रेस विधायक दल की बैठक में क्या कुछ हुआ था! 
दरअसल, सोमवार को विधानसभा परिसर में आलमगीर आलम के चेंबर में कांग्रेस विधायक दल की बैठक बुलाई गई थी। इस बैठक में विधायक दल के नेता आलमगीर आलम, झारखंड कांग्रेस के अध्यक्ष दीपक प्रकाश, जामताड़ा विधायक इरफान अंसारी, बरही विधायक उमाशंकर अकेला, मांडर विधायक शिल्पी नेहा तिर्की, खिजरी विधायक राजेश कच्छप, महागामा विधायक दीपिका पांडेय सिंह, रामगढ़ विधायक ममता देवी और बड़कागांव विधायक अंबा प्रसाद मौजूद थीं। 
वित्त मंत्री ड़ॉ. रामेश्वर उरांव भी मौजूद थे।

बैठक में राष्ट्रपति चुनाव की रणनीति पर चर्चा हुई। संगठन की मजबूती पर भी मंत्रणा की गई लेकिन, इरफान अंसारी की अगुवाई में विधायकों का एक धड़ा नाराज हो गया। इनकी शिकायत थी कि बैठक में रांची हिंसा पर चर्चा नहीं हुई। कांग्रेस का कोई नुमाइंदा रांची हिंसा में मारे गये साहिल और मुद्दस्सिर के परिवार वालों से मिलने नहीं गया।


सरकार ने मुआवजा नहीं दिया। इरफान अंसारी ने कहा कि मामला अल्पसंख्यकों से जुड़ा था इसलिए कांग्रेस कोटे के मंत्रियों ने चूं तक नहीं की। इरफान अंसारी ने विरोध जताया। 

इरफान अंसारी ने किस बात पर नाराजगी जताई थी! 
इसके बाद महागामा विधायक दीपिका पांडेय सिंह (Dipika Pandey Singh) के आवास पर नाराज विधायकों की अलग से बैठक हुई। इस बैठक में इरफान अंसारी, उमाशंकर अकेला, दीपिका पांडेय सिंह, राजेश कच्छप और नमन विक्सल कोंगाड़ी ने शिरकत की।

तय किया गया कि सरकार जब मदद करेगी तब करेगी। इसके पहले हमलोग आपस में चंदा करके साहिल और मुद्दस्सिर के परिवार वालों की आर्थिक मदद करेंगे। इसी सिलसिले में सोमवार देर शाम इरफान अंसारी, राजेश कच्छप, उमाशंकर अकेला और बंधु तिर्की साहिल और मुद्दस्सिर के परिवार वालों से मुलाकात करने पहुंचे।

यहीं भावनाओं में बहकर इरफान अंसारी कह गये। हर आंसू की एक-एक बूंद का बदला लिया जायेगा। इसका हिसाब होगा। अब सुर्खियां तो बनेगी ही।