द फॉलोअप टीम, पलामू:
ऑल इंडिया स्टूडेंट एसोसिएशन पलामू प्रमंडलीय कमिटी की यात्रा तीसरे दिन भी जारी रही। यात्रा का पहला पड़ाव पांकी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत भरी गांव था। आइसा के सूरज कुमार उर्फ सन्नी के नेतृत्व में नदी किनारे स्थित बस्ती से सुबह पैदल यात्रा शुरू हुई जो अंबेडकर चौक के पास जाकर सभा में तब्दील हो गई। कार्यक्रम का संचालन आइसा के पलामू जिला सचिव रंजीत कुमार सिंह ने किया।
कोरोना काल में मृत साथियों को श्रद्धांजलि
आइसा ने तेतराई चौक, कसमा बाजार, पांकी मस्जिद चौक में भी सभा की। कसमार में भाकपा माले के सतेंद्र को श्रद्धांजलि भी दी गई। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए आइसा के राज्य सचिव त्रिलोकीनाथ ने कहा कि इस यात्रा का मकसद कोरोना काल में जान गंवाने वाले साथियों को श्रद्धांजलि देना और उनको याद करना है। उन्होंने कहा कि साथियों के देहांत को मौत कहने से ज्यादा बेहतर होगा कि हम इसे सरकारी व्यवस्था द्वारा सुनियोजित हत्या कहें। ये हत्या है।
ऑक्सीजन और बेड की कमी से हुई थी मौतें
उन्होंने कहा कि लोगों की मौत हॉस्पिटल में बेड, ऑक्सीजन और दवा की कमी की वजह से हुई है। पूरा देश स्वास्थ्य सुविधा के अभाव से त्रस्त है। पंचायत स्तर पर बने तमाम स्वास्थ्य उपकेंद्र बेकार पड़े हैं। वहां ना तो कभी डॉक्टर आते हैं और ना ही कभी वहां का ताला खुलता है। राज्य सचिव त्रिलोकीनाथ ने कहा कि प्रधानमंत्री कोरोना काल में लोगों की सहायता करने की बजाय बंगाल चुनाव में वहां की मुख्यमंत्री का मजाक बनाने में व्यस्त थे। उस समय लोग हॉस्पिटल में ऑक्सीजन और दवा के अभाव में दम तोड़ रहे थे। उनके परिजन उनकी लाश के साथ चीत्कार कर रहे थे।
कोरोना महामारी ने शिक्षा पर प्रहार किया
आइसा की पलामू जिलाध्यक्ष दिव्या भगत ने कहा कि महामारी में सीधा प्रहार शिक्षा पर किया गया है। पिछले 2 साल से तमाम शैक्षणिक संस्थान बंद हैं। ऑनलाइन शिक्षा के नाम पर आम जनता को लूटा जा रहा है। ऑनलाइन शिक्षा की हकीकत देखनी हो तो गांवों में जाइये। वहां ना तो बिजली है और ना ही इंटरनेट की सुविधा। बहुत से परिवार वैसे हैं जिनके पास स्मार्टफोन नहीं है। लॉकडाउन की वजह से लोग रोजगार गंवा बैठे हैं। ऐसी परिस्थिति में महंगाई सातवें आसमान पर है।
खाद्य पदार्थों की कीमतों में लगातार हुई वृद्धि
दिव्या भगत ने कहा कि खाद्य सामग्री की कीमतें लगातार बढ़ रही है। प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सुविधा को बेहतर बनाने की बजाय सेंट्रल विस्टा बना रहे हैं। उन्होंने कहा कि हमारी मांग है कि प्रत्येक जिले में 100 वेंटिलेटर और इकमो मशीन की सुविधा उपलब्ध करवाई जाये। गांव औऱ कस्बों के स्कूलों को वैक्सीनेशन सेंटर बनाकर टीकाकरण की रफ्तार बढ़ाई जा सकती है। पंचायत के स्तर पर स्वास्थ्य उपकेंद्र बनाकर अविलंब वहां डॉक्टरों और नर्सों की बहाली की जाये।