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रिम्स में फिर एक कोरोना संक्रमित मरीज ने दिया बच्चे को जन्म, अबतक 22 का हो चुका है सफल प्रसव

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द फॉलोअप टीम, रांची
रिम्स को लेकर बेशक कई बार लापरवाही की बात सामने आती हो, लेकिन एक सच ये भी है कि रिम्स ने वक्त दर वक्त ये साबित भी किया है कि आखिर वो झारखंड का सबसे बड़े सरकारी अस्पताल क्यों है। शनिवार को एक बार फिर रिम्स के कुशल डॉक्टरों ने एक कोविड पॉजिटिव महिला का सफल प्रसव कराया है। बड़ी बात ये है कि महिला ने ऑपरेशन द्वारा बच्चे को जन्म दिया है। जच्चा बच्चा दोनों स्वस्थ हैं। रिम्स प्रबंधन ने ट्विटर पर ये जानकारी साझा की है। ट्विटर पर पीपीई किट पहने महिला और पुरुष डॉक्टर बच्चे को हाथ में रखे हैं। 

परिजनों ने डॉक्टरों को कहा शुक्रिया 
ऑपरेशन सफल होने के बाद महिला के परिजनों ने रिम्स के डॉक्टरों को शुक्रिया कहा है। दरअसल जब से परिजनों को इस बात का पता चला था कि महिला संक्रमित है। तब से उन्हें ये डर सता रहा था कि आखिर प्रसव कैसे होगा? और क्या प्रसव के बाद जच्चा-बच्चा को कोई खतरा तो नहीं होगा। जब परिजनों को ये जानकारी मिली कि प्रसव के लिए ऑपरेशन करना पड़ेगा तो, उनकी चिंता और बढ़ गी थी। लेकिन जैसे ही डॉक्टरों ने उन्हें बताया कि जच्चा बच्चा दोनों स्वस्थ हैं। परिजनों ने न सिर्फ राहत की सांस ली बल्कि ऑपरेशन करने वाले डॉक्टरों को धन्यवाद भी दिया है।

अबतक 22 का हो चुका है सफल प्रसव
प्रबंधन के मुताबिक रांची के रिम्स में अब तक 22 कोविड मरीजों का सफल प्रसव कराया जा चुका है। बड़ी बात ये है कि इनमें से महज 5 की नॉर्मल डिलिवरी हुई है जबकि 17 का ऑपरेशन के द्वारा प्रसव कराया गया है। राहत की बात ये भी है कि इनमें से कई जच्चा बच्चा स्वस्थ होकर अपने-अपने घरों को लौट चुके हैं जबकि कुछ अभी भी भर्ती हैं, और कुछ दिनों में उन्हें भी डिस्चार्ज कर दिया जाएगा।

20 जून को आया था पहला मामला
20 जून को सबसे पहला ऐसा मामला आया थ। जब एक महिला प्रसव के लिए भर्ती हुई थी। उसकी कोरोना जांच करायी गई तो वो पॉजिटिव पायी गई। चूंकि ये पहला केस था जब कोरोना पीड़ित महिला की डिलिवरी करानी थी। रिम्स के डॉक्टर थोड़े घबराए हुए भी थे, लेकिन बाद में तमाम एहतियात बरतकर महिला का सफल प्रसाव कराया गया। महिला ने बच्ची को जन्म दिया था। राज्य के लिए ऐसा पहली बार हुआ था जब डॉक्टर से लेकर नर्स, ओटी टेक्नीशियन, वार्ड अटेंडेंट तक ने पीपीई किट से लैस होकर कोरोना को लेकर जारी गाइडलाइन के सभी मानकों को ध्यान में रखते हुए महिला का प्रसव कराया। 28 साल की गर्भवती महिला रांची के मांडर की रहने वाली थी। उसमें संक्रमण की पुष्टि 12 जून को हुई थी। तब से लेकर 20 जून तक वो कोविड वार्ड में ही भर्ती थी। कोविड ड्यूटी में लगे चिकित्सकों ने 8 घंटे प्रयास कर नॉर्मल डिलीवरी कराई। बाद में मां और बच्ची दोनों स्वस्थ होकर अपने घर को लौट गई। 

रिम्स में अबतक 799 संक्रमितों का इलाज
रांची के रिम्स में आजतक कुल 799 कोविड मरीजों का इलाज किया गया। इनमें से 590 मरीज स्वस्थ होकर घर लौट चुके हैं। जबकि 66 संक्रमितों की मौत हो गई। फिलहाल यहां 139 मरीज भर्ती हैं। इनमें से 20 ICU में हैं। 24 अन्य गंभीर बीमारियों से ग्रस्त हैं। जबकिर 43 गर्भवती महिलाएं हैं।