द फॉलोअप डेस्क
झारखंड के पशुपालकों के लिए एक अच्छी खबर है। कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता विभाग राज्य में मिल्क कलेक्शन सेंटर में इजाफा करेगी। इसका उद्देश्य राज्य के पशु पलकों से उचित मूल्य पर दुग्ध कलेक्शन करना है। रांची के होटवार स्थित मेधा डेयरी प्लांट का औचक निरीक्षण करने पहुंची कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने ये बात कही है। मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने कहा कि राज्य में 10 हजार लीटर से दुग्ध कलेक्शन का काम शुरू हुआ था। आज प्रति दिन 3 लाख लीटर दुग्ध का कलेक्शन हो रहा है। लेकिन बाजार का डिमांड 10 लाख लीटर प्रति दिन है। बाजार के डिमांड को दूसरे कंपनी पूरा कर रहे है। जबकि मेधा के उत्पाद की क्वालिटी सबसे ज्यादा बेहतर है। मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने कहा कि पशुपालक किसानों को दुग्ध का उचित मूल्य नहीं मिल पा रहा है। ग्रामीण इलाकों में बिचौलिया सक्रिय है। ऐसे में ये जरूरी है कि मिल्क कलेक्शन सेंटर में इजाफा कर बिचौलियों के सिंडिकेट को खत्म किया जाए। मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने बताया की मांडर की एक महिला 2016 से पशुपालन से जुड़ी है और आज दुग्ध बेच कर प्रति माह 2 लाख रुपए तक का आय हासिल कर रही है। मेधा के उत्पाद को राज्य के अंदर ही नहीं दूसरे राज्य तक भी पहुंचाना है। इस दौरान मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने कैटल फीड प्रोडक्शन का भी जायजा लिया।