द फॉलोअप डेस्कः
गुजरात की सूरत पुलिस ने कार्रवाई करते हुए झारखंड के वासेपुर से एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है। सूरत में हुए हत्याकांड मामले में आरोपी 21 सालों से फरार था। जिसे सूरत पुलिस ने पकड़ने में सफलता पाई है। इसके लिए सूरत के पुलिसकर्मी ने झारखंड के वासेपुर में सात दिनों तक ऑटो चालक बनकर रहे। आरोपियों को पकड़ने के लिए टेंपो की रेकी भी की गई। आखिरकार सूरत प्रिवेंशन क्राइम ब्रांच ने आरोपी को पकड़ लिया।
2003 का मामला
जानकारी के मुताबिक ये घटना साल 2003 के मई महीने की है। दरअसल उधना थाने के अपराध रजिस्टर नंबर 59/2003 आईपीसी धारा 302, 201 और 114 के तहत मामले में शामिल आरोपी की सूरत पुलिस को तलाश थी। पुलिस ने आरोपी के बारे में जानकारी जुटाई। इसी बीच पुलिस को जानकारी मिली कि आरोपी झारखंड वासेपुर में रहता है। इसलिए आरोपी को गिरफ्तार करने के लिए पीसीबी की एक टीम तैयार की गई।
क्या है मामला
बताया गया कि 2003 में आरोपी के दोस्त मेहराज अली का दयाशंकर गुप्ता नाम के शख्स से झगड़ा हो गया था। मेहराज और उमर, दयाशंकर को अमृतनगर ले गए और शराब पिलाई। जब वह नशे में हो गया तो दोनों ने दयाशंकर की गर्दन और सिर पर वार कर हत्या कर दी। इसके बाद उसके चेहरे को जला दिया और कमरे को बाहर से बंद कर भाग गए। इस मामले में मेहराज और उमर के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया गया।
7 दिनों तक की रेकी
हत्या के बाद आरोपी झारखंड भाग गये। आरोपी वासेपुर इलाके में ऑटो चलाता था। क्योंकि वह वासेपुर का ही रहने वाला था। सूचना की पुष्टि करने के बाद पीसीबी टीम को आरोपी की गिरफ्तारी के लिए भेजा गया। पीसीबी टीम के सदस्य ऑटो चालक बनकर झारखंड वासेपुर इलाके में 7 दिनों तक डेरा डाले रहे। पुलिसकर्मी ऑटो में घूमकर आरोपियों के बारे में जानकारी जुटाते गए। आखिरकार पुलिस मोहम्मद उमर अंसारी को गिरफ्तार करने में सफल रही।