रांची
संयुक्त किसान मोर्चा झारखंड की बैठक आज अखिल भारतीय किसान सभा कार्यालय (अल्बर्ट एक्का चौक) में पूरन महतो की अध्यक्षता में संपन्न हुई। बैठक में किसान विरोधी नई केंद्रीय बाजार नीति को रद्द करने, भूमि बैंक समाप्त करने, किसानों की फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की कानूनी गारंटी, गैर-मजरूआ जमीन पर रसीद जारी न करने, झारखंड में हाथियों के आतंक, वन पट्टा, विस्थापन, सिंचाई और बड़कागांव समेत विभिन्न किसान मुद्दों पर चर्चा की गई। बैठक में निर्णय लिया गया कि 18 मार्च को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को संयुक्त किसान मोर्चा झारखंड द्वारा ज्ञापन सौंपा जाएगा। संयुक्त किसान मोर्चा का प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री से आग्रह करेगा कि झारखंड विधानसभा का विशेष सत्र बुलाकर किसान विरोधी नई केंद्रीय बाजार नीति को रद्द करने के लिए प्रस्ताव पारित किया जाए, ताकि झारखंड के किसानों को इस नीति के खतरे से बचाया जा सके। इससे पहले केरल और पंजाब विधानसभा में भी इस नीति के खिलाफ प्रस्ताव पारित किए जा चुके हैं।
इन मुद्दों को लेकर राज्यभर में प्रमंडलीय, जिला, प्रखंड और पंचायत स्तर पर किसान महापंचायत आयोजित कर नवंबर तक व्यापक किसान आंदोलन चलाने का निर्णय लिया गया। इसके अतिरिक्त, 16 मार्च को डेढ़ साल से जारी बड़कागांव किसान आंदोलन के समर्थन में संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं का दौरा होगा। बैठक में प्रमुख रूप से अखिल भारतीय किसान सभा के उप महासचिव महेंद्र पाठक, झारखंड राज्य किसान सभा के अध्यक्ष सुफल महतो, किसान महासभा के अध्यक्ष पूरन महतो, अखिल भारतीय किसान - खेत मजदूर संगठन के अध्यक्ष मुकुद महतो, झारखंड राज्य किसान सभा के संयुक्त सचिव असिम सरकार, मदुवा कच्छप, संतोष रजक, इम्तियाज खान आदि उपस्थित थे।