द फॉलोअप डेस्क
खूंटी सदर अस्पताल में पदस्थापित विशेषज्ञ चिकित्सा पदाधिकारी (पैथोलॉजी) डॉ. नीलम दास को झारखंड सरकार ने सेवा से बर्खास्त कर दिया है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में बुधवार को हुई कैबिनेट की बैठक में यह निर्णय लिया गया।
खूंटी सदर अस्पताल के सिविल सर्जन नागेश्वर मांझी ने बताया कि डॉ. नीलम दास कोरोना काल के दौरान अचानक अस्पताल से गायब हो गई थीं। उन्हें कई रिमाइंडर भेजे गए, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला। इस पर सिविल सर्जन ने विभाग से पत्राचार कर उनके लगातार अनुपस्थित रहने की सूचना दी और कार्रवाई की मांग की।
जांच के बाद विभाग ने डॉक्टर को बर्खास्त करने का निर्णय लिया, जिसे बुधवार की कैबिनेट में स्वीकृति दी गई। सदर अस्पताल के कुछ डॉक्टरों ने बताया कि डॉ. नीलम दास कोरोना काल के दौरान गर्भवती थीं और उस समय उन्होंने छुट्टी ली थी, लेकिन वे कई महीनों तक अस्पताल नहीं लौटीं और न ही कोई जवाब दिया।
इसके अलावा, सिविल सर्जन ने यह भी बताया कि जिले के विभिन्न सरकारी अस्पतालों में औचक निरीक्षण किया जा रहा है, जिसमें डॉक्टरों की अनुपस्थिति के मामलों पर वेतन कटौती और कॉज नोटिस जारी किए जा रहे हैं।