द फॉलोअप डेस्कः
मुख्यमंत्री चंपई सोरेन ने जामताड़ा के लोगों को सौगात दिया। उन्होंने बरबेंदिया पुल शिलान्यास किया। इस दौरान पथ मंत्री बसंत सोरेन ने जमकर बीजीपी और बाबूलाल मरांडी पर निशाना साधा। ये शिलान्यास बहुत महत्वपूर्ण है। हम सब जानते हैं साल भर पहले एक अप्रिय घटना होने की वजह से हमारे परिवार के कुछ सदस्य हमारे बीच नहीं रहे। और ऐसी ही घटनाएं होती रही। लेकिन पिछली सरकारों ने संज्ञान लेने का काम नहीं किया। चुंकी आपकी समस्या को लेकर इरफान जी सरकार के साथ बैठते हैं। निरंतर चर्चा करते हैं कि हमारी लोगों की ये समस्या है। उसका निराकरण कैसे हो इसको लेकर वो परेशान रहते हैं। उन्हीं के प्रयास का ये नतिजा है कि हम इस एतिहासिक शिलान्यास के गवाह है। उस घटना को काफी झंझोर दिया था। हेमंत सोरेन बहुत आहत हुए थे। जब उनको पता चला कि हमारे परिवार के लोग इस नदी में डूब गये तो उनको भी बड़ा अफसोस हुआ।
उस समय उन्होंने संकल्प लिया था कि कुछ भी हो हम पुल का निर्माण करेंगे। आज उसकी आधारशिला रखी गई है। बहुत जल्द ये पुल चलने के लायक हो जाएगी। चुंकी ये सड़कें पुल पलिया किसी भी राज्य को विकसित करने का बड़ा साधन होता है। वहां का वातावरण बिल्कुल बदल जाता है। वहां की स्थिति बेहतर होने लगती है। कनेक्टिविटी बढ़ती है। हमारा व्यवसाय सुधरेगा। बच्चों को उच्च स्तरीय शिक्षा मिलेगी। ये पुल इसका बहुत बड़ा साधन बनेगा। चुंकी जामताड़ा जिला से हमारा लगाव पुराना रहा है आप सभी जानते हैं कि बाबा दिशोम गुरु शिबू सोरेन का संथाल परगना के प्रति झुकाव रहा है। आपने उनको प्यार दिया है। वही प्यार वही आर्शिवाद के बदौलत ये हिम्मत होती है कि ये सरकार आपके बारे में सोचे।आपने ये महसूस किया होगा कि पिछली सरकार और हमारी सरकार में अंतर आप बेहतर देख रहे हैं। बगल में नौटंकीवाला आया था। वो क्यों आया था समझ में नहीं आया।
भीड़ था वहां। वहां नारा लग रहा था अबकि बार 400 पार। लेकिन मैं इसी मंच से कहना चाहता हूं कि अबकि बार चार भी पार नहीं होगा। उस मंच पे एक बहुत बढ़िया हायर किया गया नौटंकीवाला था। हायर इसलिए कह रहा हूं कि वह किस दल का है पता नहीं। उसका वजूद उसको खुद पता नहीं। बड़ा चिल्लाकर कह रहा था सोरेन परिवार परिवार वाद करता है। हेमंत सोरेन जमीन लूटता है। जहां देखो हेमंत सोरेन का जमीन है। हम छाती ठोक के कहते हैं कि है बिल्कुल है। ये पूरा झारखंड की जमीन हेमंत सोरेन की है। यहां के हर बच्चे का झारखंड है। तुम्हारा वजूद क्या है। उससे पूछना चाहिए तुम्हारा वजूद क्या है। हेमंत सोरेन हमेशा कहा कि हर घर में हेमंत है। परिवार वाद की बात करते हैं ये लोग। परिवार वाद । कौन बाप है जो नहीं चाहता कि उसका बेटा अगर लायक है तो उसका बोझ संभाले। हर वो बाप चाहता है कि मेरा बेटा लायक है तो वो बोझ संभाले। हेमंत सोरेन ने बोझ संभाला तो क्या गलती की। इनका तो परिवार ही नहीं है। परिवार का पता करिए तो ब्लैंक मिलेगा। कौन मां है कौन बीवी है, कौन बच्चा है। वो आदमी क्या समझेगा जिसका परिवार ही नहीं। परिवार की बात करते हैं। बड़ा चिल्लाकर कहते हैं परिवारवाद। इसी मंच से मैं चैलेंज करता हूं कि अगर मां का लाल है तो 14 सीट में से एक भी सीट जीतकर दिखा दे मैं मान जाऊंगा।