द फॉलोअप डेस्क
झारखंड से आए प्रतिनिधियों ने पहली बार कर्तव्य पथ पर गणतंत्र दिवस समारोह का प्रत्यक्ष अनुभव किया, जहां उन्होंने अद्वितीय जोश और देशभक्ति के साथ इस ऐतिहासिक आयोजन का आनंद लिया। भव्य परेड, सांस्कृतिक प्रस्तुतियों और सैन्य प्रदर्शन को देखकर वे गर्व और उत्साह से भर गए। भारत के 76वें गणतंत्र दिवस पर दिल्ली के कर्तव्य पथ (पूर्व में राजपथ) पर आयोजित ग्रैंड परेड समारोह में महुआडांड़ प्रखंड के नेतरहाट पंचायत के मुखिया राम बिशुन नगेसिया ने भाग लिया। यह समारोह देश की सांस्कृतिक विविधता और लोकतांत्रिक मूल्यों को प्रदर्शित करने का एक महत्वपूर्ण अवसर था। गौरतलब है कि राम बिशुन नगेसिया जो नेतरहाट पंचायत के प्रगतिशील और समर्पित मुखिया के रूप में जाने जाते हैं, उन्हें गणतंत्र दिवस का परेड देखने के लिए आमंत्रित किया गया था।
उन्होंने इस अवसर पर पारंपरिक वेशभूषा पहनी और झारखंड की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को दर्शाया। रामबिशुन नगेसिया ने कहा- यह मेरे लिए एक गर्व का क्षण है कि मुझे इस महान राष्ट्रीय समारोह में भाग लेने का अवसर मिला। यह दिन हमें हमारे संविधान और लोकतंत्र की मजबूती की याद दिलाता है। मैं अपने पंचायत और महुआडांड़ प्रखंड के लोगों की ओर से इस समारोह में शामिल होकर बहुत सम्मानित महसूस कर रहा हूं। राम बिशुन नगेसिया के नेतृत्व में पंचायत ने कई विकासात्मक परियोजनाओं को सफलतापूर्वक लागू किया है, झारखंड का प्रमुख पर्यटन स्थल होने के कारण पर्यटकों के निवास हेतु होम स्टे की सुविधा दिलाई जिससे पंचायत के निवासियों के जीवन स्तर में सुधार हुआ है। वहीं कचरा डंपिंग के लिए भूमि का चयन किया गया। जिसमें मुखिया ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। 76वें गणतंत्र दिवस के इस ऐतिहासिक समारोह में राम बिशुन नगेसिया की भागीदारी ने नेतरहाट पंचायत और महुआडांड़ को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। यह समारोह देश की एकता और अखंडता को प्रदर्शित करने का एक उत्कृष्ट उदाहरण था।
इस वर्ष देशभर से विभिन्न राज्यों और संगठनों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। परेड में सांस्कृतिक झांकियों, सैन्य शक्ति प्रदर्शन और विभिन्न राज्यों की विरासत को प्रदर्शित करने वाले प्रदर्शन शामिल थे। प्रतिनिधियों ने अपने अनुभव साझा करते हुए कहा कि इस समारोह ने उन्हें भारत के लोकतांत्रिक मूल्यों और विविधता से गहराई से जोड़ दिया। एक प्रतिनिधि ने कहा, “फौजियों की अनुशासित परेड, विभिन्न राज्यों की झांकी और आकाश में लड़ाकू विमानों के प्रदर्शन को देखकर गर्व की अनुभूति हुई। यह जीवनभर याद रहने वाला पल था।” गणतंत्र दिवस समारोह में विभिन्न राज्यों की झांकियों ने भारत की सांस्कृतिक विविधता और विकास गाथा को प्रस्तुत किया। झारखंड के प्रतिनिधियों ने विशेष रूप से उन झांकियों में रुचि दिखाई, जिनमें आदिवासी परंपराओं, आत्मनिर्भर ग्राम व्यवस्था और शासन प्रणाली को दर्शाया गया था।