द फॉलोअप डेस्कः
केंद्र सरकार देश में हो रहे जी-20 सम्मेलनों का पूरा फायदा उठा रही है। जमकर चुनावी प्रचार हो रहा है। दूसरे देशों में भी जी-20 के सम्मेलन होते, लेकिन वहां ऐसा प्रचार नहीं होता है। दरअसल, केंद्र सरकार जी-20 सम्मेलन के जरिये लोगों का ध्यान जरूरी मुद्दों से भटकाना चाहती है। यह कहना है झारखंड प्रदेश कांग्रेस की प्रवक्ता आभा सिन्हा का। गुरुवार को एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर उन्होंने ये बातें कही हैं।
प्रेस विज्ञप्ति में आभा सिन्हा ने कहा कि जी-20 का गठन 1999 में हुआ था। इसमें दुनिया के 19 देश और यूरोपियन यूनियन सदस्य हैं। इसके गठन से लेकर अब तक बारी-बारी से 17 देशों में जी-20 शिखर सम्मेलनों हो चुके हैं। अब भारत में इसके आयोजन की बारी है। लेकिन, यहां इसे लेकर चुनावी कैंपेन चलाया जा रहा है। जैसा माहौल बनाने की प्रयास यहां किया जा रहा है, वैसा किसी भी दूसरे देश में नहीं किया गया। सिन्हा ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा ऐसा इसलिए किया जा रहा है, ताकि जरूरी मुद्दों से लोगों का ध्यान भटकाया जा सके।
उन्होंने याद दिलाया है कि नयी दिल्ली में 1983 में 100 से ज्यादा देशों का गुटनिरपेक्ष शिखर सम्मेलन और उसके बाद कॉमनवेल्थ देशों के शिखर सम्मेलन का सफलतापूर्वक आयोजन किया जा चुका है। तब की सरकार द्वारा चुनावी फायदे के लिए उन मौकों का कोई इस्तेमाल नहीं किया गया।
आभा सिन्हा ने कहा कि लालकृष्ण आडवाणी ने पांच अप्रैल, 2014 को नरेंद्र मोदी को एक शानदार इवेंट मैनेजर की संज्ञा दी थी। जनता का ध्यान भटकाने के लिए प्रधानमंत्री इवेंट मैनेजमेंट ही कर रहे हैं।
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