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अंकिता ह'त्याकांड : मनोज तिवारी और कपिल मिश्रा के साथ दुमका जाएंगे निशिकांत दुबे, सरकार को दिया 48 घंटे का अल्टीमेटम

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दुमका: 

झारखंड (Jharkhand) के दुमका (Dumka) में हुए अंकिता हत्याकांड (Ankita Murder Case) मामले में गोड्डा सांसद निशिकांत दुबे (Nishikant Dubey) ने राज्य की हेमंत सरकार को अल्टीमेटम दिया है। सांसद ने राज्य सरकार को 48 घंटे का अल्टीमेटम देते हुए स्थानीय पुलिस पदाधिकारी नूर मुस्तफा (Noor Mustafa) पर कार्रवाई करने की मांग की है। निशिकांत दुबे का ट्वीट चर्चा में है। गौरतलब है कि मनचले युवक द्वारा जलाई गई अंकिता का 28 अगस्त को रिम्स में इलाज के दौरान देहांत हो गया। दुमका सहित पूरे राज्य में काफी आक्रोश है। 

निशिकांत दुबे ने ट्विटर पर क्या लिखा! 
निशिकांत दूबे ने अपने ऑफिशियल ट्विटर पर लिखा है कि "अंकिता हत्याकांड मामले में 48 घंटे का वक़्त है झारखंड सरकार को नूर मुस्तफ़ा जैसे भ्रष्टाचारी पुलिस पदाधिकारी, संबंधित थाने पर कार्रवाई करने के लिए। इसके बाद मैं ख़ुद सांसद मनोज तिवारी जी व कपिल मिश्रा के साथ दुमका पहुंचूंगा। अंकिता को न्याय मिलकर रहेगा। बहू बेटी बहन की सुरक्षा के लिए सरकार को झकझोरेंगे"।

 

सरकार पर लगा तुष्टिकरण का आरोप!
गौरतलब है कि इससे पहले भी मीडिया से बातचीत में गोड्डा से बीजेपी के सांसद निशिकांत दुबे ने हेमंत सरकार पर तुष्टिकरण का आरोप लगाया था। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार यदि सड़क पर उपद्रव करने वाले शख्स के लिए एयर एंबुलेंस का इंतजाम कर सकती है तो अंकिता के लिए ऐसा क्यों नहीं किया गया। क्या दुमका में एयर एंबुलेंस नहीं लाया जा सकता था? निशिकांत दुबे ने का कहना था कि यदि वक्त रहते अंकिता को सही इलाज मिलता तो उसकी जान बच सकती थी। 

23 अगस्त को अंकिता पर हुआ था हमला
बता दें कि 23 अगस्त को सुबह तकरीबन 4 बजे जब अंकिता अपने कमरे में सो रही थी तभी शाहरुख नाम के युवक ने उसपर पेट्रोल छिड़का और आग लगा दी। गंभीर रूप से झुलसी अंकिता को रिम्स (रांची) में भर्ती करवाया गया था जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। सोमवार को भारी सुरक्षा के बीच अंकिता का अंतिम संस्कार कर दिया गया। दुमका में एहतियातन धारा-144 लगा दी गई है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने अंकिता के परिजनों को 10 लाख रुपये का मुआवजा देने का ऐलान किया है। वहीं, पीड़िता की दादी ने आरोपी के लिए फांसी की सजा की मांग की है। अंकिता आईएएस बनना चाहती थी।