द फॉलोअप डेस्कः
सीबीआई साहिबगंज में हुए अवैध खनन व उससे जुड़े सभी केस की जांच कर रही है। सीबीआई की टीम इसी कड़ी में धुर्वा थाने की पुलिस से विजय हांसदा से जुड़े केस में पूछताछ करेगी। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इस केस की जांच में हटिया डीएसपी राजा मित्रा व पूर्वा थाना के पुलिस पदाधिकारियों का भी बयान दर्ज किया जाएगा। धुर्वा थाने में दर्ज एफआईआर पुलिस ने आनन-फानन में विजय हांसदा का बयान भी 164 के तहत दर्ज कराया था। बयान में विजय हांसदा ने ईडी के अफसरों के खिलाफ भी जातिसूचक शब्द के प्रयोग की बात कही थी। इसके बाद ईडी अफसर भी इस मामले में जांच के दायरे में आ गए हैं। सीबीआई यह भी जांच करेगी कि विजय हांसदा ने आखिर किसके दबाव में आकर हाईकोर्ट में दायर याचिका वापस लेने की कोशिश की थी। याचिका को लेकर ही ईडी के अफसरों से विजय का विवाद हुआ था। सीबीआई की टीम विजय हांसदा से पूछताछ कर कर चुकी है। सीबीआई को एक माह में जांच पूरी कर हाईकोर्ट को रिपोर्ट देनी है।
क्या है मामला
बता दें कि विजय हांसदा झारखंड के साहिबगंज में हुए 1000 करोड़ के अवैध खनन मामले में ईडी के गवाह है। खबर आई थी कि उनको धमकी दी जा रही थी, जिसके बाद विजय ने रांची के धुर्वा थाने में शिकायत दर्ज की है। आवेदन में उन्होंने बताया है कि साहिबगंज के रहने वाले अशोक यादव और मुकेश यादव ने उसे धमकी दी है। उन्हें डर है कि वे साहिबगंज जाते हैं तो उनके साथ कोई अनहोनी हो सकती है। गौरतलब है कि विजय हांसदा साहिबगंज के मंडरो अंचल के भवानी चौकी के ग्राम प्रधान हैं। गौरतलब है कि विजय हांसदा ने हाई कोर्ट में साहिबगंज के थाना क्षेत्र के नींबू पहाड़ पर हुए अवैध खान मामले की सीबीआई जांच की मांग को लेकर याचिका दायर की थी। बाद में उसने याचिका को वापस लेने का अनुरोध भी किया है। लेकिन कोर्ट ने याचिका वापस लेने की प्रक्रिया पर फिलहाल रोक लगा रखा है। वहीं ईडी सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार विजय हांसदा अवैध खनन मामले में ईडी का गवाह था, लेकिन सूचना आ रही है कि वह अवैध खनन के आरोपियो से ही मिल गया है। इसलिए ईडी ने विजय को समन किया था।
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