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Ranchi : आय से अधिक संपत्ति मामले में बंधु तिर्की को 3 साल की सजा, खतरे में विधायकी

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रांचीः


मांडर विधायक बंधु तिर्की को सीबीआई कोर्ट ने अधिक संपत्ति मामले में दोषी करार दिया है। उनको 3 साल  की सजा सुनाई गयी है। यह मामला वर्ष 2010 में दर्ज किया गया था। इस केस का नंबर आरसी 5(A) 2010 है। CBI  के मुताबिक बंधु तिर्की के पास आय से अधिक 6 लाख 28 हज़ार 698 रुपये संपत्ति अर्जित है। इस फैसले के बाद बंधु तिर्की की विधायकी खतरे में पड़ सकती है। बता दें कि अपने बचाव के लिए विधायक ने अपनी तरफ से 8 गवाह कोर्ट में पेश किये। 

4 अगस्त 2010 को मामला दर्ज हुआ था
झारखंड हाईकोर्ट के आदेश पर 4 अगस्त 2010 को CBI  ने विजिलेंस केस नंबर 09/09 की जांच को टेकओवर करते हुए 11 अगस्त 2010 को प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज की। जांच के बाद 21 मार्च 2013 को CBI  ने बंधु तिर्की की आय, संपत्ति और व्यय का विवरण देते हुए क्लोजर रिपोर्ट न्यायालय में जमा की। सीबीआइ की क्लोजर रिपोर्ट पर संज्ञान के बाद 16 जनवरी 2019 को आरोप गठित हुआ। इस केस में बंधु तिर्की को सीबीआइ ने गिरफ़्तार किया था, जिसके बाद इन्हें कई महीने तक जेल में रहना पड़ा था।

 

आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने का आरोप
सीबीआई के विशेष जज पीके शर्मा की अदालत ने पिछले दिनों बंधु तिर्की को बहस प्रारंभ करने का निर्देश दिया था। मामले में सीबीआई की ओर से 6 दिसंबर 2019 को ही बहस पूरी होने के बाद बंधु तिर्की का बयान दर्ज किया गया था। बयान के बाद उनकी ओर से अपने बचाव में गवाहों को पेश किया गया। 5 मार्च 2020 को गवाही बंद होने के बाद मामला बहस पर चला गया। 

कोविड के कारण प्रभावित हुई थी सुनवाई
कोविड के कारण भी मामले की सुनवाई प्रभावित रही, हालांकि कोर्ट की सख्ती के बाद सुनवाई में तेजी आई। बता दें कि बंधु तिर्की के खिलाफ आय से 6 लाख 28 हजार 698 रुपए अधिक की संपत्ति अर्जित करने का आरोप है। वह इस मामले में जेल जाने के बाद जमानत पर बाहर हैं। सीबीआई ने बंधु तिर्की के खिलाफ 11 अगस्त 2010 को आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने के मामले में प्राथमिकी दर्ज की थी।